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बिहार की इस गुफा में छिपा है हर्यंक वंश का खजाना, जानें-इससे जुड़े अनसुलझे रहस्य maubeatmedia

दिल्ली, लाइफस्टाइल डेस्क। भारत विविधताओं वाला देश है। उत्तर में हिमालय है तो दक्षिण में कन्याकुमारी है। पश्चिम में कच्छ है तो पूर्व में बंगाल की खाड़ी है। इसके साथ ही कई ऐसे रहस्यमयी स्थान है जो विज्ञान के लिए आज भी पहेली बनी हुई है। इन पहेलियों में एक पहेली सोन भंडार है जो कि बिहार राज्य के राजगीर में स्थित है। ऐसा कहा जाता है कि इस जगह पर सोने का खजाना है, जिसे हर्यक वंश के संस्थापक बिम्बिसार की पत्नी ने छिपा रखा है। आज तक कोई इस खजाना तक नहीं पहुंच पाया है। अंग्रेजों ने एक बार कोशिश भी की थी, लेकिन वे इसमें सफल नहीं हो पाए थे। आइए, इस रहस्यमयी गुफा के बारे में जानते हैं-

सोन भंडार, राजगीर

यह स्थान बिहार राज्य के राजगीर में स्थित है। इतिहास की माने तो हर्यक वंश के संस्थापक बिम्बिसार को सोने चांदी से बेहद लगाव था। इसके लिए वह सोना और उसके आभूषणों को इकठ्ठा करते रहते थे। उनकी कई रानियां थी, जिनमें एक रानी बिम्बिसार की पसंद का पूरा ख्याल रखती थी। जब अजातशत्रु ने अपने पिता को बंदी बना लिया और कारागार में डाल दिया।

तब बिम्बिसार की पत्नी ने राजगीर में यह सोन भंडार बनवाया था। इस गुफा में राजा द्वारा इकठ्ठा किए गए सभी खजानों को छिपा दिया गया था। आज तक यह गुफा विज्ञान के लिए पहेली है। इस गुफा में दो बड़े कमरे एक समान बनाए गए थे। एक गुफा में सैनिक रहते थे। जबकि दूसरे कमरे में खजानों को छिपाया गया था।

इस कमरे को एक बड़े से चट्टान से ढका गया है, जिसे आज तक कोई खोलने में कामयाब नहीं हो पाया है। इस दरवाजे पर शंख लिपि में कुछ लिखा है। इस बारे में कहा जाता है कि अगर कोई इस लिपि को पढ़ने में सफल हो जाता है तो वह सोन भंडार को खोल सकता है। आजादी से पूर्व अंग्रेजों ने एक बार तोप से इस दरवाजे को उड़ाने की कोशिश की थी, लेकिन उन्हें इसमें सफलता नहीं मिली। इसके बाद से किसी ने दरवाजे को खोलने की कोशिश नहीं की है।

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